माँ की दुआ
महेन्द्र सिंह कटारिया 'विजेता'
सीकर, (राजस्थान)
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उस आँगन में रहे ना कभी
सुख-समृद्धि का अभाव।
फलीभूत रहता है जबतक
माँ की दुआओं का प्रभाव।
जन्मदात्री की आज्ञा का
जिस घर अँगना में हो अनुपालन।
नव पीढ़ी में वहाँ होता सदा
संस्कारित गुणों का परिपालन।
मातृशक्ति हमारी होती सदा
कुटुंब समुदाय की आन।
बढ़ाती मांगलिक कार्यों में
खानदानी विरासत की शान।
राह भटकते बच्चों को
बीच जीवन में है टोकती।
जो कर्तव्य पथ हो अडिग
उन्हें बढ़ने से नहीं रोकती।
देवें सदैव उन्हें सम्मान
जीओं चाहे अपने उसूल।
हृदय विह्वल हो उनका
करें न कभी ऐसी भूल।
परिचय :- महेन्द्र सिंह कटारिया 'विजेता'
निवासी : सीकर, (राजस्थान)
घोषणा पत्र : मैं यह प्रमाणित करता हूँ कि सर्वाधिकार सुरक्षित मेरी यह रचना, स्वरचित एवं मौलिक है।
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